डूडसी में नौ दिवसीय श्रीराम कथा के अंतिम दिन श्रद्धालुओं की उमड़ी भारी भीड़

देवेन्द्रराज सुथार / बागरा। निकटवर्ती डुडसी गांव के बस स्टैंड स्थित बाबा रामदेवजी मंदिर प्रांगण में समस्त ग्रामवासियों द्वारा आयोजित नौ दिवसीय श्रीराम कथा का रविवार को भव्य समापन हुआ। जन-जन के आराध्य, मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान श्रीराम की जीवन गाथा पर आधारित इस कथा के अंतिम दिन श्रद्धालुओं की भारी भीड़ उमड़ी।
कथा व्यासपीठ पर विराजमान प्रयागराज से पधारे प्रसिद्ध कथा वाचक पं. योगेश मिश्र ने श्रीराम कथा के महत्व पर प्रकाश डालते हुए अंतिम दिन लंका दहन, श्रीराम-रावण युद्ध, और राज्याभिषेक जैसे प्रसंगों का भावपूर्ण एवं प्रभावी वर्णन किया। उनकी वाणी से प्रवाहित श्रीराम कथा को सुनकर श्रोता भावविभोर हो उठे।
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पं. मिश्र ने कहा कि रामायण केवल एक धार्मिक ग्रंथ नहीं, बल्कि जीवन जीने की कला सिखाने वाली प्रेरणास्रोत है। भगवान श्रीराम ने दीन-दुखियों, वनवासियों के कष्ट दूर कर उन्हें संगठित किया और समाज में व्याप्त बुराइयों को संगठन की शक्ति से दूर किया। उन्होंने बताया कि हर रामभक्त का कर्तव्य है कि ऐसे धार्मिक आयोजनों में सहभागिता करे और सहयोग प्रदान करे।
कथा के अंत में भगवान श्रीराम के राज्याभिषेक का अद्भुत वर्णन किया गया, वहीं रामदरबार की नन्हे-मुन्ने बच्चों द्वारा प्रस्तुत आकर्षक झांकी ने सभी का मन मोह लिया। सम्पूर्ण पांडाल जय श्रीराम के उद्घोष से गूंजायमान हो उठा।
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कथा वाचक ने कहा कि भगवान श्रीराम जैसा चरित्र न पहले हुआ, न आगे होगा। उनका नाम स्वयं में महान है – इतनी शक्ति है कि यदि श्रद्धा से पत्थर पर राम नाम लिख दिया जाए, तो वह भी पानी पर तैरने लगे। उन्होंने कहा, जहां भगवान श्रीराम की कृपा होती है, वहीं श्रीराम कथा का आयोजन संभव होता है। डुडसी को उन्होंने धर्म नगरी बताते हुए वहां के श्रद्धालुओं को पुण्यशाली कहा।
पं. मिश्र ने यह भी बताया कि मानव जीवन भोग के लिए नहीं, योग के लिए है। हमें अपने जीवन को अच्छे कार्यों में लगाकर सार्थक बनाना चाहिए, और विपत्तियों का सामना धैर्यपूर्वक करना चाहिए। समापन अवसर पर श्री जागनाथ महादेव मंदिर के महंत श्री श्री 1008 महेन्द्र भारतीजी महाराज ने पावन सान्निध्य प्रदान किया। कार्यक्रम में भामाशाहों, सहयोगियों और अतिथियों का साफा एवं माल्यार्पण द्वारा भव्य स्वागत किया गया। प्रमुख उपस्थितजनों में डुडसी आडवाडा सरपंच प्रतिनिधि जोगसिंह राजपुरोहित, भाजपा ग्रामीण मंडल बागरा के पूर्व अध्यक्ष जवानमल सुथार, मिडिया प्रभारी बगसिंह राजपुरोहित, कांतिलाल राजपुरोहित, मंच संचालक महेंद्रसिंह, देवेंद्रसिंह, वचनसिंह राजपुरोहित, मोहनसिंह, गोविंदराम एवं पुलिस विभाग के सदस्य उपस्थित रहे। कार्यक्रम के पश्चात आरती एवं प्रसादी वितरण हुआ। कथा समापन पर व्यासपीठ की मधुर संगीत लहरियों पर श्रोता झूम उठे और भावविभोर होकर श्रीराम नाम में लीन हो गए।