राजस्थान अन्य पिछड़ा वर्ग (राजनैतिक प्रतिनिधित्व) आयोग का 24 को जालोर में जनसंवाद एवं परिचर्चा कार्यक्रम
- ओबीसी आयोग के अध्यक्ष न्यायाधीश (सेनि.) मदन भाटी करेंगे शिरकत-जन प्रतिनिधियों और प्रतिभागियों के साथ होगा प्रत्यक्ष संवाद
जालोर. राजस्थान अन्य पिछड़ा वर्ग (राजनैतिक प्रतिनिधित्व) आयोग, राजस्थान सरकार द्वारा 24 दिसंबर को जालोर जिला मुख्यालय पर कलेक्ट्रेट सभा भवन में समय प्रातः10.30 से 12.30 तक जिला स्तरीय जनसंवाद एवं परिचर्चा कार्यक्रम का आयोजन किया जाएगा। ओबीसी आयोग के जनसंपर्क अधिकारी विक्रम राठौड़ ने विस्तृत जानकारी प्रदान करते हुए बताया कि आयोग के माननीय अध्यक्ष न्यायाधीश (सेनि.) श्री मदनलाल भाटी इस जनसंवाद कार्यक्रम में प्रत्यक्ष संवाद करेंगे। इस परिचर्चा में ओबीसी आयोग आमजन से प्रत्यक्ष संवाद स्थापित कर अन्य पिछड़ा वर्गो के क्षेत्रवार मुद्दे, विकास संबंधी आवश्यकताएँ, सामाजिक-आर्थिक चुनौतियां और ओबीसी समुदाय के कल्याण से जुड़े महत्वपूर्ण समस्याओं, अपेक्षाओं व सुझावों को प्राप्त करेगा।

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आयोग द्वारा जनसंवाद/परिचर्चा कार्यक्रम में संबंधित जिले के वर्तमान-पूर्व सांसद, विधायक, जिला प्रमुख/प्रधान, जिला परिषद सदस्य, पंचायत समिति सदस्य, नगर पालिका/नगर परिषद/नगर निगम के सदस्य एंव अध्यक्ष, बार काउंसिल सदस्य, सामाजिक एवं शैक्षणिक संस्थाए, मुख्य कार्यकारी अधिकारी जिला परिषद एंव नगरीय निकायों के अधिशाषी अधिकारी सहित अन्य पिछड़ा वर्ग कल्याण से जुड़े पदाधिकारी तथा आमजन के साथ प्रत्यक्ष संवाद करेगा। साथ ही आयोग द्वारा वर्तमान एवं पूर्व जनप्रतिनिधियों, पंचायत राज संस्थाओं एवं नगरीय निकायों के प्रतिनिधियों के साथ ही सांसदों एवं विधायकों को जनसुनवाई में भागीदारी के लिए आमंत्रित किया गया है। आयोग संबंधित हितधारकों से जुड़े मुद्दों पर सुनवाई कर आवश्यक प्राथमिक टिप्पणियां एवं सुझाव लेगा। जनसंवाद के दौरान आयोग अन्य पिछड़ा वर्ग के आरक्षण से संबंधित विभिन्न विषयों एवं मुद्दों पर हितधारको के साथ विचार विमर्श,चर्चा करेगा एवं आमजन के सुझाव प्राप्त करेगा एवं एवं प्राप्त सुझावों को रिपोर्ट में समाहित किया जाएगा ताकि राज्य में ओबीसी समुदाय के सामाजिक न्याय एवं सशक्तिकरण के लिए ठोस नीति -निर्माण हो सके।
एक परिचय : राजस्थान राज्य अन्य पिछड़ा वर्ग (राजनैतिक प्रतिनिधित्व) आयोग
सर्वोच्च न्यायालय के आदेश के अनुसरण में आयोग को राज्य के भीतर स्थानीय निकायों (ग्रामीण / शहरी) में सभी स्तरों पर अन्य पिछड़ा वर्ग के पिछड़ेपन की प्रकृति एवं उसके निहितार्थों की समसामयिक एवं अनुभवजन्य तरीके से गहन जांच / अध्ययन कर राज्य की पंचायती राज संस्थाओं एवं नगरीय निकायों के निर्वाचनों में अन्य पिछड़ा वर्ग के आरक्षण के संबंध में अनुशंसाएं राज्य सरकार को एक निश्चित समय में प्रस्तुत करनी है। इस हेतु राज्य सरकार द्वारा वरिष्ठ विधिवेत्ता एवं न्यायाधीश (सेनि.) श्री मदन लाल भाटी की अध्यक्षता में पांच सदस्यीय राज्य स्तरीय ओबीसी आयोग का गठन किया गया है, जिसने प्रदेश में कार्य करना शुरू कर दिया हैं। यह आयोग राजस्थान प्रदेश की सामाजिक एवं शैक्षिक रूप से पिछड़े वर्गों के कल्याण एवं स्थानीय निकायों में उनके समुचित राजनीतिक प्रतिनिधित्व को सुनिश्चित करने हेतु पंचायती राज और शहरी निकायों में ओबीसी जातियों को आरक्षण देने का फार्मूला तय कर अपनी रिपोर्ट राज्य सरकार को प्रस्तुत करेगा। इसी रिपोर्ट के आधार पर प्रदेश में आरक्षण लागू किया जाएगा।